मत्ती 27
27
करियोत गाउँक यहूदक मृत्यु
(मर्कू. १५:१-१५; लूक. २३:१-५; यूह. १८:२८-३८)
1सक्करहीँ, सक्कु मुख्य पुजारीनके और यहूदी दलके नेतन येशूहे मृत्युदण्ड देना कहिके हुँकार विरोधमे सरसल्लाहा करलाँ। 2तब् ओइने हुँकिन्हे बहानके लैगिलाँ, और राजपाल पिलातसके थेन सौँपदेलाँ।
यहूदा अपनहे फाँसी लगैलक
3तब् हुँकिन्हे पक्रा देहुइया यहूदाहे पता चल्लिस कि येशूहे मुवैना दण्डक आज्ञा हुइल बतिन। तब ऊ पस्ताइल और मुख्य पुजारीनहे और यहूदी दलके नेतनहे चाँदीक तीसथो सिक्का फिर्ता करे आइल, 4और कहल, “मै निर्दोष मनैयाहे मुवाइक लग धोखा देहल बतुँ।” पर ओइने कलाँ, “तैँ ज्या कर, हम्रिहिन्हे ओकर कौनो मतलब नै हो? तैँ अप्निहीँ जान।” 5तब् चाँदीक ऊ तीसथो सिक्का मन्दिरके अंग्नामे#27:5 मन्दिरके अंग्नामे काकरेकी मन्दिरके भित्तर जैना सक्कुहुनहे अनुमति नै रहे। फेँकाके चलगिलस, और मन्दिरके बाहेर जाके ऊ अपनहे फाँसी लगाके मुगिलस। 6पर मुख्य पुजारीनके चाँदीक उ सिक्का लेके कलाँ, “मन्दिरके धनके कोषमे यी धरना ठिक नै हो, काकरेकी यी किहुहे मुवैना खुनके मोल हो।” 7ओइने आपसमे सल्लाहा करके उ पैँसालेके परदेशीनके लाशहे माटी देहक लग कुम्हाँरके जग्गा किन्लाँ। 8तबेकमारे उ जग्गा आजसम फेन खुनके जग्गा कहिजाइत। 9तब् यर्मिया परमेश्वरके अगमवक्तक कहल यी बात पूरा हुइलस, “ओइने चाँदीक तीसथो सिक्का लेलाँ। उ मोल जोन इजरायलके मनै हुँकार लग देना सहमत हुइल रहिँत। 10परमप्रभु महिन्हे अह्राइल अनुसार कुम्हाँरके जग्गा किनक लग ओइने उ पैँसक प्रयोग करलाँ।”
राजपाल पिलातसके येशूसे सोधपुँछ
11येशू हाकिमके आघे ठरह्यैलाँ, और ऊ येशूहे पुँछल, “का तुँ यहूदिनके राजा हुइतो?” येशू कलाँ, “अप्निए असिक कहती।” 12तब् मुख्य पुजारीनके और यहूदी दलके नेतनके हुँकारमे दोष लगैलाँ, पर ऊ कुछु जवाफ नै देलाँ। 13तब् राजपाल पिलातस हुँकिन्हे कहल, “तोहाँर विरोधमे ओइने मेरमेर बातके गवाही देहतताँ, का तुँ नै सुनथुइतो?” 14पर ऊ उहिहे एक्केथो आरोपके फेन जवाफ नै देलाँ। राजपाल पिलातस फेन यी बातमे गजब अचम्म परगिलस।
येशूहे छोरनामे राजपाल पिलातस असफल
15निस्तार-तिहुवारमे भीड़के चाहल बमोजिम हाकिमहे एकथो कैदीहे छोरदेना चलन रहे। 16उ समयमे बारब्बा नाउँ रहल एकथो कुख्यात कैदी रहे। 17जब मनै जमा हुइलाँ, तब राजपाल पिलातस ओइन्हे पुँछल, “तुहुरे का चहथो? मै तुहुरिन्के लग किहिहे छोरदिऊँ? बारब्बा कि ख्रीष्ट कहलाजैना येशूहे?” 18काकरेकी ओइने येशूहे बिह्रे मुके सौँपलताँ कहिके उहिहे पता रहिस। 19तब् न्याय-आसनमे बैठल समयमे ओकर जन्नी असिक कहिके खबर पठैलिस, “उ निर्दोष मनैयाहे कुछु ना करहो, काकरेकी आज सपनामे हुँकार कारण मै गजब दुःख भोगल बतुँ।” 20पर मुख्य पुजारीनके और यहूदी दलके नेतन बारब्बाहे छोरदेना और येशूहे मृत्युदण्ड देना माँग करो कहिके मनैनहे उक्सैलाँ। 21हाकिम फेनदोस्रे ओइन्हे पुँछल, “यी दुई जहनमेसे किहिहे मै तुहुरिन्के लग मुक्त करदिऊँ कना तुहुरे चहथो?” ओइने कलाँ, “बारब्बाहे।” 22राजपाल पिलातस ओइन्हे कहल, “तब् ख्रीष्ट कहलाजैना येशूहे मै का करुँ ते?” ओइने सक्कु जाने जवाफ देलाँ, “ऊ क्रूसमे टँगाजाए।” 23ऊ कहल, “काकरे? ऊ का अपराध कर्ले बा?” पर ओइने आउर धेउर असिक कती चिल्लैलाँ, “उहिहे क्रूसमे मुवाऊ।” 24पर कुछु नै हुई सेक्ना हस देख्के, बेन खैलाबैला मच्जाई कना डरेलेके राजपाल पिलातस पानीलेके भीड़के आघे अपन हाँथ धोके कहल, “यकर मुलक जिम्मेदार तुहुरे रबो, मै यी मनैयक खुनसे निर्दोष बतुँ।” 25सक्कु मनै जवाफ देलाँ, “हम्रे और हमार लरका ओकर मुलक जिम्मेदार रबी।”
क्रूसमे टँगाइक लग सौँप्ना
26तब् ऊ ओइन्के लग बारब्बाहे छोरदेहल, पर येशूहे कोर्रा लगाके क्रूसमे टँगाइक लग सौँप देहल।
येशूक अपमान
(मर्कू. १५:१६-२०; यूह. १९:२-३)
27तब् हाकिमके सिपाहिन येशूहे महलमे लैगिलाँ, और पूरा पल्टनहे हुँकार चारु ओहोँर जमा करैलाँ। 28ओइने हुँकार लुग्गा खोलके हुँकिन्हे लाल लुग्गा घलादेलाँ। 29ओइने काँटक मुकुट गुँथके हुँकार मुन्टामे घलादेलाँ। और हुँकार दाहिन हाँथेम गौलरके लट्ठी देलाँ। और हुँकार आघे ठेहुनी टेकके असिक कती हुँकिन्हे खिझ्वैलाँ, “हे यहूदिनके राजा, नमस्कार!” 30तब् ओइने हुँकारमे थुक्लाँ, और उ गौलरके लट्ठीलेके हुँकार मुन्टामे चट्कैलाँ। 31हुँकिन्हे खिझ्वाके सेकके ओइने उ लुग्गा खोलदेलाँ, और हुँकार अपने लुग्गा घलाके हुँकिन्हे क्रूसमे चहुँराइक लग लैगिलाँ।
क्रूसमे येशू
(मर्कू. १५:२१-३२; लूक. २३:२६-४३; यूह. १९:१७-२७)
32जाइबेर ओइने सिमोन नाउँ रहल कुरेन शहरके एकथो मनैयाहे भेटैलाँ। और सिपाहिनके उहिहे हुँकार क्रूस बोक्ना कर लगैलाँ। 33जब ओइने गलगथा कना ठाउँमे पुग्लाँ, जेकर मतलब खोपड़ीक ठाउँ हो। 34तब् ओइने हुँकिन्हे पिट मिलाइल अंगुरके रस पिए देलाँ, पर ऊ चिख्के उहिहे पिए नै चहलाँ। 35ओइने हुँकिन्हे क्रूसमे टाँगके सेक्लाँ ते, चिट्टा दारके ओइने हुँकार लुग्गा आपसमे बाँटलेलाँ। 36तब् वहाँ बैठके ओइने हुँकार अख्वारी करे लग्लाँ। 37“येशू यहूदिनके रज्वा हो” कहिके हुँकार विरोधमे लिखल दोष-पत्र ओइने हुँकार मुन्टासे उप्पर टाँसदेलाँ। 38हुँकार संग दुईथो डाँकनके क्रूसमे टँगागिल रहिँत। एकथोहे हुँकार दाहिन पाँजर और दोसुरहे बाउँ पाँजर। 39उ डगर अउइया-जउइया मनै अपन-अपन कपार हिलाके हुँकार गिल्ला करलाँ, 40और कलाँ, “ए मन्दिर भस्कुइया और तीन दिनमे बनुइया, अपनहे बँचा और परमेश्वरके छावा हुइते कलेसे क्रूसमेसे उतरके तरे आजा।” 41मुख्य पुजारीनके फेन यहूदी कानुनके गुरुन और यहूदी दलके नेतनके संगसंगे असिक कहिके हुँकार गिल्ला करलाँ, 42“यी दोसुर जहनहे ते बँचाइल, अपनहे भर बँचाई नै सेकी। यी इजरायलके रज्वा हो। अब्बे क्रूसमेसे तरे उतरके आए, तब् हम्रे यिहिहे विश्वास कर्बी। 43यी परमेश्वरमे भरोसा करत। परमेश्वर यिहिहे चहथाँ कलेसे ऊ यिहिहे अब्बेहेँ छुटकारा दिँत। काकरेकी यी ‘मै परमेश्वरके छावा हुइतुँ,’ कहिके कहे।” 44तब् हुँकार संग क्रूसमे टँगागिलक उ डाँकन फेन यहे मेरके हुँकार अपमान करलाँ।
येशूक मृत्यु
(मर्कू. १५:३३-४१; लूक. २३:४४-४९; यूह. १९:२८-३०)
45आब दुपहरसे लेके तीन बजेसम सारा देशमे अंधार होगिल। 46तीन बजे ओहोँर येशू असिक कहिके जोरसे चिल्लैलाँ, “इलोई, इलोई, लामा सबखथनी?” अर्थात, “हे मोरिक परमेश्वर, हे मोरिक परमेश्वर, अप्नि महिन्हे काकरे छोरदेली?” 47वहाँ ठरह्याइल मनैनमेसे बहुत्ते जाने यी सुनके कलाँ, “यी मनैया एलियाहे बलाइता!” 48ओइन्मेसे एकथो मनैया झत्ते दौरके जाके एकथो स्पन्ज लेके सिर्कामे बोरके गौलरके लट्ठीमे धारके हुँकिन्हे पिए देहल। 49पर बाँकी मनै कलाँ, “रुकली, हेरब! कहुँ एलिया यिहिहे बँचाई आइत कि?” 50तब् फेनदोस्रे येशू जोरसे चिल्लैलाँ, और अपन आत्मा छोरदेलाँ। 51अस्तेहेँक मन्दिरके पर्दा टिप्पासे लेके जरसम दुई हिस्सा होके फाटगिलस, और जमिन थरथराई लागल और चट्टान फुट्गिलाँ। 52चिहान उघरगिलाँ, और परमेश्वरके सुतगिलक बहुत्ते पवित्र मनैनके मुअल शरीर जित्ती होके उठ्गिलिन। 53और परमेश्वरके पवित्र मनै चिहानहुँक्रिहिनमेसे निकरगिलाँ। और मुअलमेसे येशू फेनदोस्रे जिउठ्लाँ ते ओइने पवित्र नगरमे गैलाँ। और बहुत्ते मनैनके थेन देखा परलाँ। 54जब कप्तान और ओकर संग येशूहे चौकीदारी करुइयन भुँइचाल और वहाँ हुइती रहल घटना देख्लाँ। तब् ओइने गजब डरागिलाँ और कलाँ, “जात्तिके, यी परमेश्वरके छावा रहिँत।” 55वहाँ बहुत्ते जन्नी मनै फेन रहिँत, जेने येशूक सेवा करक लग गालील प्रदेशमेसे हुँकार पाछेपाछे आइल रहिँत। ओइने यी सक्कु बात दूरेसे हेरतिहिँत। 56ओइन्मेसे मग्दल गाउँक मरियम और याकूब और योसेफके दाई मरियम और जब्दियक छावनके दाई रहिन।
येशूक दफन
(मर्कू. १५:४२-४७; लूक. २३:५०-५६; यूह. १९:३८-४२)
57जब संझा हुइल ते अरिमाथियक योसेफ नाउँ रहल एकथो धनी मनैया आइल, ऊ अप्निहीँ फेन येशूक चेला रहे। 58ऊ राजपाल पिलातसके थेन जाके येशूक मुअल शरीर माँगल और राजपाल पिलातस उहिहे उ देना हुकुम करल। 59योसेफ मुअल शरीर लेके सफा मलमलके लुग्गालेके बेँह्रल। 60और ऊ चट्टानमे खोपके बनैलक अपने लावा चिहानमे उ धारल। और ओइने चिहानके मुहेम एकथो बरवार पठरा लुर्कादेलाँ, और ऊ वहाँसे चलगिलस। 61चिहानके आघे मग्दल गाउँक मरियम और दोसुर मरियम फेन बैठल रहिँत।
चिहानमे चौकिदर्वन
62दोसुर दिन, बिँसैना दिन, मुख्य पुजारीनके और फरिसीनके राजपाल पिलातसहे भेँटा करे गैलाँ। 63और ओइने कलाँ, “हे महाराज, हम्रिहिन्हे याद पलि बा, कि ऊ ठगाहा जित्ती रहलमे कहल रहे, ‘मै मुलक तीन दिन पाछे फेनदोस्रे जित्ति होजिम।’ 64तबेकमारे तेसर दिनसम उ चिहानके अख्वारी करक लग सिपाहिनहे हुकुम करी। यदि अप्नि असिक नै कर्बी कलेसे ओकर चेलनके आके ओकर लाहाश चोराके लैजिहीँ। और ‘ऊ मुअलमेसे जित्ती होगिल’ कहिके मनैनहे ठगिहीँ। और यी अब्बेक झूँट पहिलेक झूँटसे खराब होजाई। जसिके येशू, ख्रीष्ट हुइतुँ कहिके दाबी करल रहे।” 65राजपाल पिलातस ओइन्हे कहल, “तुहुरे अपन संग थोरबहुत चौकीदरवनहे लैजाऊ, और तुहुरे अपन सेकतसम चिहानहे अख्वारी करवाऊ।” 66तब् ओइने जाके पठरामे लालमोहर लगैलाँ। और चौकिदर्वनहे खटाके चिहानके अख्वारी करवैलाँ, ताकि केऊ पठराहे ना हटाए।
தற்சமயம் தேர்ந்தெடுக்கப்பட்டது:
मत्ती 27: DVGNT
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