तब सइतनवा येसुजिके यरुसलेममा लिगलिय हसे मन्दिरवाक सबसे वपरा टिस्कुनियामा पुगाके कहलिय, “यगर यपनहुँ परमेस्वरक पुतर हखहुँ जउँ, यहवाँसे तर उफरहुँ, केहकेकि धरमसास्तरवामा यसके लिखाइल बडइ,
‘यपनहुँक रछा करेके परमेस्वर यापन स्वरगदुतवानिके आग्या करबसि,
हसे यपनहुँक टङडियामा पत्थरावासे चोट झिन लगइ कहके
स्वरगदुतवाह यपनहुँके हथवामा लोखतइ’।”
बाकि येसुजि जवाफ देते कहलसि, “धरमसास्तरवामा यसके लिखाइल बडइ, ‘तुइ परमप्रभु यापन परमेस्वरके परिछा झिन करसि’।”