एक दिन ईसा किसी शहर में से गुज़र रहा था कि वहाँ एक मरीज़ मिला जिसका पूरा जिस्म कोढ़ से मुतअस्सिर था। जब उसने ईसा को देखा तो वह मुँह के बल गिर पड़ा और इल्तिजा की, “ऐ ख़ुदावंद, अगर आप चाहें तो मुझे पाक-साफ़ कर सकते हैं।”
ईसा ने अपना हाथ बढ़ाकर उसे छुआ और कहा, “मैं चाहता हूँ, पाक-साफ़ हो जा।” इस पर बीमारी फ़ौरन दूर हो गई।