भजन संहिता 19:7-14

भजन संहिता 19:7-14 - यहोवा की व्यवस्था खरी है, वह प्राण को
बहाल कर देती है;
यहोवा के नियम विश्‍वासयोग्य हैं,
साधारण लोगों को बुद्धिमान बना देते हैं;
यहोवा के उपदेश सिद्ध हैं, हृदय को आनन्दित
कर देते हैं;
यहोवा की आज्ञा निर्मल है, वह आँखों में
ज्योति ले आती है;
यहोवा का भय पवित्र है, वह अनन्तकाल
तक स्थिर रहता है;
यहोवा के नियम सत्य और पूरी रीति से
धर्ममय हैं।
वे तो सोने से और बहुत कुन्दन से भी
बढ़कर मनोहर हैं;
वे मधु से और टपकनेवाले छत्ते से भी
बढ़कर मधुर हैं।

उन्हीं से तेरा दास चिताया जाता है;
उनके पालन करने से बड़ा ही प्रतिफल
मिलता है।
अपनी भूलचूक को कौन समझ सकता है?
मेरे गुप्‍त पापों से तू मुझे पवित्र कर।
तू अपने दास को ढिठाई के पापों से
भी बचाए रख;
वे मुझ पर प्रभुता करने न पाएँ!
तब मैं सिद्ध हो जाऊँगा,
और बड़े अपराधों से बचा रहूँगा।
मेरे मुँह के वचन और मेरे हृदय का ध्यान
तेरे सम्मुख ग्रहण योग्य हों,
हे यहोवा परमेश्‍वर, मेरी चट्टान और मेरे उद्धार
करनेवाले!

यहोवा की व्यवस्था खरी है, वह प्राण को बहाल कर देती है; यहोवा के नियम विश्‍वासयोग्य हैं, साधारण लोगों को बुद्धिमान बना देते हैं; यहोवा के उपदेश सिद्ध हैं, हृदय को आनन्दित कर देते हैं; यहोवा की आज्ञा निर्मल है, वह आँखों में ज्योति ले आती है; यहोवा का भय पवित्र है, वह अनन्तकाल तक स्थिर रहता है; यहोवा के नियम सत्य और पूरी रीति से धर्ममय हैं। वे तो सोने से और बहुत कुन्दन से भी बढ़कर मनोहर हैं; वे मधु से और टपकनेवाले छत्ते से भी बढ़कर मधुर हैं। उन्हीं से तेरा दास चिताया जाता है; उनके पालन करने से बड़ा ही प्रतिफल मिलता है। अपनी भूलचूक को कौन समझ सकता है? मेरे गुप्‍त पापों से तू मुझे पवित्र कर। तू अपने दास को ढिठाई के पापों से भी बचाए रख; वे मुझ पर प्रभुता करने न पाएँ! तब मैं सिद्ध हो जाऊँगा, और बड़े अपराधों से बचा रहूँगा। मेरे मुँह के वचन और मेरे हृदय का ध्यान तेरे सम्मुख ग्रहण योग्य हों, हे यहोवा परमेश्‍वर, मेरी चट्टान और मेरे उद्धार करनेवाले!

भजन संहिता 19:7-14