कुलुस्सियों 4:2-6
प्रार्थना में लगे रहो, और धन्यवाद के साथ उस में जागृत रहो; और इसके साथ ही साथ हमारे लिये भी प्रार्थना करते रहो कि परमेश्वर हमारे लिये वचन सुनाने का ऐसा द्वार खोल दे, कि हम मसीह के उस भेद का वर्णन कर सकें जिसके कारण मैं कैद में हूँ, और उसे ऐसा प्रगट करूँ, जैसा मुझे करना उचित है। अवसर को बहुमूल्य समझकर बाहरवालों के साथ बुद्धिमानी से व्यवहार करो। तुम्हारा वचन सदा अनुग्रह सहित और सलोना हो कि तुम्हें हर मनुष्य को उचित रीति से उत्तर देना आ जाए।
कुलुस्सियों 4:2-6