उत्‍पत्ति 32:1-5

उत्‍पत्ति 32:1-5 पवित्र बाइबल (HERV)

याकूब ने भी वह जगह छोड़ी। जब वह यात्रा कर रहा था उसने परमेश्वर के स्वर्गदूत को देखा। जब याकूब ने उन्हें देखा तो कहा, “यह परमेश्वर का पड़ाव है।” इसलिए याकूब ने उस जगह का नाम महनैम रखा। याकूब का भाई एसाव सेईर नामक प्रदेश में रहता था। यह एदोम का पहाड़ी प्रदेश था। याकूब ने एसाव के पास दूत भेजा। याकूब ने दूत से कहा, “मेरे स्वामी एसाव को यह खबर दो: ‘तुम्हारा सेवक याकूब कहता है, मैं इन सारे वर्षों लाबान के साथ रहा हूँ। मेरे पास मवेशी, गधे, रेवड़े और बहुत से नौकर हैं। मैं इन्हें तुम्हारे पास भेजता हूँ और चाहता हूँ कि तुम हमें स्वीकार करो।’”

उत्‍पत्ति 32:1-5 पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) (HINCLBSI)

तत्‍पश्‍चात् याकूब भी अपने मार्ग पर चला गया। किन्‍तु मार्ग में उसे परमेश्‍वर के दूत मिले। जब याकूब ने उन्‍हें देखा तब वह बोला, ‘यह तो परमेश्‍वर की सेना है।’ अतएव उसने उस स्‍थान का नाम ‘महनईम’ रखा। याकूब ने घर पहुँचने के पूर्व अपने भाई एसाव के पास एदोम के मैदान अर्थात् सेईर देश में अपने दूत भेजे। उसने दूतों को आदेश दिया, ‘मेरे स्‍वामी एसाव से कहना, “आपका सेवक याकूब यों कहता है, मैं प्रवासी होकर लाबान के साथ रहा और अब तक उन्‍हीं के पास था। मेरे पास गाय-बैल, गधे, भेड़-बकरियां और सेवक-सेविकाएं हैं। मैंने अपने स्‍वामी को बताने के लिए यह सन्‍देश भेजा है जिससे मैं आपकी कृपा-दृष्‍टि प्राप्‍त करूं।” ’

उत्‍पत्ति 32:1-5 पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) (HINOVBSI)

याक़ूब ने भी अपना मार्ग लिया और परमेश्‍वर के दूत उसे आ मिले। उनको देखते ही याक़ूब ने कहा, “यह तो परमेश्‍वर का दल है।” इसलिये उस ने उस स्थान का नाम महनैम रखा। तब याक़ूब ने सेईर देश में, अर्थात् एदोम देश में, अपने भाई एसाव के पास अपने आगे दूत भेज दिए, और उसने उन्हें यह आज्ञा दी, “मेरे प्रभु एसाव से यों कहना : तेरा दास याक़ूब तुझ से यों कहता है कि मैं लाबान के यहाँ परदेशी होकर अब तक रहा; और मेरे पास गाय–बैल, गदहे, भेड़–बकरियाँ, और दास–दासियाँ हैं : और मैं ने अपने प्रभु के पास इसलिये संदेश भेजा है कि तेरे अनुग्रह की दृष्‍टि मुझ पर हो।”

उत्‍पत्ति 32:1-5 इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 (IRVHIN)

याकूब ने भी अपना मार्ग लिया और परमेश्वर के दूत उसे आ मिले। उनको देखते ही याकूब ने कहा, “यह तो परमेश्वर का दल है।” इसलिए उसने उस स्थान का नाम महनैम रखा। तब याकूब ने सेईर देश में, अर्थात् एदोम देश में, अपने भाई एसाव के पास अपने आगे दूत भेज दिए। और उसने उन्हें यह आज्ञा दी, “मेरे प्रभु एसाव से यह कहना; कि तेरा दास याकूब तुझ से यह कहता है, कि मैं लाबान के यहाँ परदेशी होकर अब तक रहा; और मेरे पास गाय-बैल, गदहे, भेड़-बकरियाँ, और दास-दासियाँ हैं और मैंने अपने प्रभु के पास इसलिए सन्देश भेजा है कि तेरे अनुग्रह की दृष्टि मुझ पर हो।”