एस्तर 8:11
एस्तर 8:11 पवित्र बाइबल (HERV)
उन पत्रों पर राजा के ये आदेश लिखे थे: यहूदियों को हर नगर में आपस में एक जुट होकर अपनी रक्षा करने का अधिकार है। उन्हें अधिकार है कि वे किसी भी प्रांत और समूह के लोगों की ऐसी किसी भी सेना को छिन्न—भिन्न कर दें, मार डालें अथवा पूरी तरह नष्ट कर दें जो उन पर, उनकी स्त्रियों पर, और उनके बच्चों पर आक्रमण कर रही हो। यहूदियों को अधिकार है कि वे अपने शत्रुओं की सम्पत्ति को ले लें और उसे नष्ट कर डालें।
एस्तर 8:11 पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) (HINCLBSI)
इन पत्रों के द्वारा सम्राट ने सब नगरों में रहने वाले यहूदियों को यह अनुमति दी कि वे अपने प्राणों की रक्षा के लिए परस्पर एकत्र होकर सुरक्षा-दल बना सकते हैं। यदि कोई जाति अथवा प्रदेश की सशस्त्र-सेना उन पर आक्रमण करेगी तो वे बच्चों और स्त्रियों सहित उनको नष्ट कर सकते हैं, उनका वध और सर्वनाश कर सकते हैं, और उनकी धन-सम्पत्ति लूट सकते हैं।
एस्तर 8:11 Hindi Holy Bible (HHBD)
इन चिट्ठियों में सब नगरों के यहूदियों को राजा की ओर से अनुमति दी गई, कि वे इकट्ठे हों और अपना अपना प्राण बचाने के लिये तैयार हो कर, जिस जाति वा प्रान्त से लोग अन्याय कर के उन को वा उनकी स्त्रियों और बाल-बच्चों को दु:ख देना चाहें, उन को विध्वंसघात और नाश करें, और उनकी धन सम्मत्ति लूट लें।
एस्तर 8:11 पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) (HINOVBSI)
इन चिट्ठियों में सब नगरों के यहूदियों को राजा की ओर से अनुमति दी गई, कि वे इकट्ठे हों और अपना अपना प्राण बचाने के लिये तैयार होकर, जिस जाति या प्रान्त के लोग अन्याय करके उनको या उनकी स्त्रियों और बाल–बच्चों को दु:ख देना चाहें, उनको घात और नष्ट करें, और उनकी धन सम्पत्ति लूट लें।
एस्तर 8:11 इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 (IRVHIN)
इन चिट्ठियों में सब नगरों के यहूदियों को राजा की ओर से अनुमति दी गई, कि वे इकट्ठे हों और अपना-अपना प्राण बचाने के लिये तैयार होकर, जिस जाति या प्रान्त के लोग अन्याय करके उनको या उनकी स्त्रियों और बाल-बच्चों को दुःख देना चाहें, उनको घात और नाश करें, और उनकी धन-सम्पत्ति लूट लें।
एस्तर 8:11 सरल हिन्दी बाइबल (HSS)
इन चिट्ठियों के द्वारा राजा ने उन यहूदियों को, जो साम्राज्य के हर एक नगर में रहते थे, यह अनुमति प्रदान कर दी थी, कि वे एकत्र होकर अपने प्राणों की रक्षा के उपक्रम में किसी भी समुदाय वा राज्य की सशस्त्र सेना को, जो उन पर, उनकी स्त्रियों तथा बालकों पर आक्रमण करें, उनको घात और नष्ट करें, एवं उनकी संपत्ति को लूट लें और उनका अस्तित्व ही मिटा दें.