निर्गमन 2:1-6

निर्गमन 2:1-6 HINCLBSI

लेवी वंशीय एक पुरुष ने लेवी कुल की एक कन्‍या से विवाह किया। उसकी पत्‍नी गर्भवती हुई। उसने एक पुत्र को जन्‍म दिया। जब उसने देखा कि बालक सुन्‍दर है, तो तीन महीने तक उसे छिपाये रखा। पर जब वह बालक को और न छिपा सकी तब उसके लिए सरकण्‍डों की एक टोकरी ली। उसने टोकरी पर डामर और राल का लेप लगाया, और उसके भीतर बालक को रख दिया। तत्‍पश्‍चात् उसने टोकरी नील नदी के किनारे कांसों के मध्‍य में रख दी। बालक की बहिन यह देखने के लिए दूर खड़ी रही कि उसके साथ क्‍या होता है। फरओ की पुत्री नील नदी में स्‍नान करने आई। उसकी सहेलियां नदी के तट पर टहल रही थीं। फरओ की पुत्री ने कांसों के मध्‍य टोकरी देखी। उसने टोकरी लाने के लिए अपनी दासी को भेजा। जब उसने उसको खोला तो एक बालक को देखा। वह रो रहा था। उसे बालक पर दया आई। उसने कहा, ‘यह इब्रानियों का कोई बच्‍चा है।’