1 कुरिन्थियों 3:3-9

1 कुरिन्थियों 3:3-9 HINCLBSI

आप इस समय भी इसे पचा नहीं सकते, क्‍योंकि आप अब तक शारीरिक स्‍वभाव के हैं। आप लोगों में ईष्‍र्या और झगड़ा होता है। क्‍या यह इस बात का प्रमाण नहीं कि आप शारीरिक स्‍वभाव के हैं और निरे मनुष्‍यों-जैसा आचरण करते हैं? जब कोई कहता है, “मैं पौलुस का हूँ” और कोई कहता है, “मैं अपुल्‍लोस का हूँ” , तो क्‍या यह निरे मनुष्‍यों जैसा आचरण नहीं है? अपुल्‍लोस क्‍या है? पौलुस क्‍या है? हम तो धर्मसेवक मात्र हैं, जिन के माध्‍यम से आप लोग विश्‍वासी बने, हममें प्रत्‍येक ने वही कार्य किया, जिसे प्रभु ने उस को सौंपा। मैंने पौधा रोपा, अपुल्‍लोस ने उसे सींचा, किन्‍तु परमेश्‍वर ने उसे बड़ा किया। न तो रोपने वाले का कोई महत्व है और न सींचने वाले का, बल्‍कि बढ़ाने वाले अर्थात परमेश्‍वर का ही महत्व है। रोपने वाला और सींचने वाला एक ही काम करते हैं और प्रत्‍येक अपने-अपने परिश्रम के अनुरूप अपनी मज़दूरी पायेगा। हम परमेश्‍वर के सहकर्मी हैं और आप लोग हैं — परमेश्‍वर का खेत। आप परमेश्‍वर का भवन भी हैं।