YouVersion Logo
Search Icon

लूका 2:42-52

लूका 2:42-52 HINOVBSI

जब यीशु बारह वर्ष का हुआ, तो वे पर्व की रीति के अनुसार यरूशलेम को गए। जब वे उन दिनों को पूरा करके लौटने लगे, तो बालक यीशु यरूशलेम में रह गया; और यह उसके माता–पिता नहीं जानते थे। वे यह समझकर कि वह अन्य यात्रियों के साथ होगा, एक दिन का पड़ाव निकल गए : और उसे अपने कुटुम्बियों और जान–पहचान वालों में ढूँढ़ने लगे। पर जब नहीं मिला, तो ढूँढ़ते–ढूँढ़ते यरूशलेम को फिर लौट गए, और तीन दिन के बाद उन्होंने उसे मन्दिर में उपदेशकों के बीच में बैठे, उनकी सुनते और उनसे प्रश्न करते हुए पाया। जितने उसकी सुन रहे थे, वे सब उसकी समझ और उसके उत्तरों से चकित थे। तब वे उसे देखकर चकित हुए और उसकी माता ने उससे कहा, “हे पुत्र, तू ने हम से क्यों ऐसा व्यवहार किया? देख, तेरा पिता और मैं कुढ़ते हुए तुझे ढूँढ़ते थे?” उसने उनसे कहा, “तुम मुझे क्यों ढूँढ़ते थे? क्या नहीं जानते थे कि मुझे अपने पिता के भवन में होना अवश्य है?” परन्तु जो बात उसने उनसे कही, उन्होंने उसे नहीं समझा। तब वह उनके साथ गया, और नासरत में आया, और उनके वश में रहा; और उसकी माता ने ये सब बातें अपने मन में रखीं। और यीशु बुद्धि और डील–डौल में, और परमेश्‍वर और मनुष्यों के अनुग्रह में बढ़ता गया।