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यिर्मयाह 24

24
अंजीर से भरे दो टोकरे
1जब बेबीलोन का राजा नबूकदनेस्सर, यहोयाकीम के पुत्र यहूदा के राजा यकोन्याह को, और यहूदा के हाकिमों और लोहारों और अन्य कारीगरों को बन्दी बना कर यरूशलेम से बेबीलोन को ले गया,#2 राजा 24:12–16; 2 इति 36:10 तो उसके बाद यहोवा ने मुझ को अपने मन्दिर के सामने रखे हुए अंजीरों के दो टोकरे दिखाए। 2एक टोकरे में तो पहले से पके अच्छे अच्छे अंजीर थे, और दूसरे टोकरे में बहुत निकम्मे अंजीर थे, वरन् वे ऐसे निकम्मे थे कि खाने के योग्य भी न थे। 3फिर यहोवा ने मुझ से पूछा, “हे यिर्मयाह, तुझे क्या दिखाई पड़ता है?” मैं ने कहा, “अंजीर; जो अंजीर अच्छे हैं वे तो बहुत ही अच्छे हैं, परन्तु जो निकम्मे हैं, वे बहुत ही निकम्मे हैं; वरन् ऐसे निकम्मे हैं कि खाने के योग्य भी नहीं हैं।”
4तब यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुँचा, 5“इस्राएल का परमेश्‍वर यहोवा यों कहता है, जैसे अच्छे अंजीरों को, वैसे ही मैं यहूदी बन्दियों को जिन्हें मैं ने इस स्थान से कसदियों के देश में भेज दिया है, देखकर प्रसन्न हूँगा। 6मैं उन पर कृपादृष्‍टि रखूँगा और उनको इस देश में लौटा ले आऊँगा, और उन्हें नष्‍ट न करूँगा परन्तु बनाऊँगा; उन्हें उखाड़ न डालूँगा, परन्तु लगाए रखूँगा। 7मैं उनका ऐसा मन कर दूँगा कि वे मुझे जानेंगे कि मैं यहोवा हूँ; और वे मेरी प्रजा ठहरेंगे और मैं उनका परमेश्‍वर ठहरूँगा, क्योंकि वे मेरी ओर सारे मन से फिरेंगे।
8“परन्तु जैसे निकम्मे अंजीर, निकम्मे होने के कारण खाए नहीं जाते, उसी प्रकार से मैं यहूदा के राजा सिदकिय्याह और उसके हाकिमों और बचे हुए यरूशलेमियों को, जो इस देश में और मिस्र में रह गए हैं, छोड़ दूँगा। 9इस कारण वे पृथ्वी के राज्य राज्य में मारे मारे फिरते हुए दु:ख भोगते रहेंगे; और जितने स्थानों में मैं उन्हें जबरन निकाल दूँगा, उन सभों में वे नामधराई और दृष्‍टान्त और स्राप का विषय होंगे। 10और मैं उनमें तलवार चलाऊँगा, और महँगी और मरी फैलाऊँगा, और अन्त में इस देश में से, जिसे मैं ने उनके पुरखाओं को और उनको दिया, वे मिट जाएँगे।”

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